आप सब 'पाखी' को बहुत प्यार करते हैं...

शनिवार, जनवरी 16, 2010

रानी लक्ष्मीबाई के झाँसी किले में

पिछले दिनों मम्मी-पापा के साथ झाँसी गई थी. वहाँ मैंने रानी लक्ष्मीबाई का किला भी देखा. यह जगह मुझे बहुत सुन्दर लगी. आजकल रानी लक्ष्मीबाई (मनु) पर सीरियल भी देख रही हूँ, सो इससे और भी अच्छा लगा.

(ये रही कड़क बिजली तोप पर मेरी सवारी )
(यहीं से बहादुर रानी लक्ष्मीबाई ने अपने पुत्र के साथ किले से अपने घोड़े पर बैठकर छलांग लगाई थी)
(इस शिव-मंदिर में रानी लक्ष्मीबाई रोज पूजा करती थीं)

14 टिप्‍पणियां:

Unknown ने कहा…

सुन्दर चित्र पाखी लाई..इतने दिनों तक कहाँ गायब हो गई थी.

Dr. Brajesh Swaroop ने कहा…

अतिसुन्दर. पाखी को देखकर मनु की याद आ गई.

Dr. Brajesh Swaroop ने कहा…

अतिसुन्दर. पाखी को देखकर मनु की याद आ गई.

Bhanwar Singh ने कहा…

पाखी तो शानदार जगह घूम आई. अब तो हम भी जायेंगें.

हिंदी साहित्य संसार : Hindi Literature World ने कहा…

ऐतिहासिक मनभावन चित्र.

Shyama ने कहा…

Beautifull.

बेनामी ने कहा…

बड़ी मस्ती में तोप पर बैठी हैं पाखी जी..बहादुर बच्ची.

Shahroz ने कहा…

संभल के अक्षिता, कहीं गिर ना जाना.

मन-मयूर ने कहा…

आजकल लक्ष्मीबाई पर धारावाहिक भी देख रहे हैं, ऐसे में इन चित्रों ने बड़ा प्रभावित किया.

Amit Kumar Yadav ने कहा…

पाखी की हर अदा ही निराली है.
वैसे लगती ये बड़ी भोली-भाली है.

S R Bharti ने कहा…

Wonderfull !!

Akshitaa (Pakhi) ने कहा…

आप सभी ने तो बड़ी अच्छी-अच्छी बातें लिखी है, मैंने तो सोचा था की आप लोग मुझे भूल गए होंगें. बस यूँ ही अपना प्यार देते रहें.

Dr. Brajesh Swaroop ने कहा…

..भला पाखी को कोई भूल सकता है.

संजय भास्‍कर ने कहा…

REALY BEAUTIFUL...